गुरु जी ने बताया कि
🍃कोई भी दुनिया से चला जाएं तो ये मत कहो कि दुनिया से चले गए,,,,ये कहो कि मुझ में समा गए, जिस से तकलीफ नही होगी ।
🍃मन को ” वश ” कैसे करें ? तो बताया कि ,,, मन किसी और का नही अपना ही है, हम उसे जहां चाहे वहां लगा सकते है,,,,जैसे गाड़ी हमारी है हम जहां चाहे वहां ले जा सकते है,,,,,मन को नौकर बनाएं मालिक ना बनाएं ।
🍃एक विचार जैसे एक पेड़ और बहुत सारे पेड़ ” वन ” कहलाता है, एक चिंगारी से सारा ” वन ” जल सकता है ,,,ऐसे ही गुरु के एक वचन से सारे विचार खत्म हो जाते है ।
🍃गाड़ी का हैंडल हमारे हाथ मे है जहां चाहे वहां मोड़ सकते है, ऐसे ही मन का हैंडल भी अपने ही हाथ मे रखें जहां मोड़ना चाहे वहां मोड़ सकते है ।
🍃बॉल को ऊपर फेंकना मुश्किल है,,,,,,नीचे फेंकना आसान है ,,ऐसे ही मन नीचे जल्दी से गिरता है ,,,मन को ऊपर उठाना मुश्किल होता है ।
🍃कोई दूसरा हमें गलत दिशा में नही ले जाता ,,हमारा मन ही हमे ले जाता है ।
🍃मनोरंजन मतलब मन मे रंज मतलब दुखी होना है
🍃शुक्राने सतगुरु जी के हरि ॐ।
Hariom Guruji